बिहार। यास तूफान को लेकर बिहार में 4 दिनों का विशेष अलर्ट जारी किया गया है। इसमें 27 मई को राज्य के 38 जिलों में भारी बारिश के साथ तेज हवाएं चलेंगी। ऐसे में में आपदा को लेकर पूरा बिहार अलर्ट है। बिहार के सभी जिलों के DM इसे लेकर पूरी तरह से अलर्ट मोड पर हैं। जिससे किसी भी आपदा से निपटा जा सके। तेज रफ्तार में चलने वाली हवाओं के कारण प्रदेश के सभी जिलों में सुरक्षा का दस्ता लगाया गया है। जमुई और बांका में 70 mm से अधिक बारिश होने का अनुमान है। तूफान के कारण आवश्यक सेवाओं के बाधित होने का अनुमान है।
इस कारण से ऐसी व्यवस्था बनाई जा रही है जिससे आपात सेवा को तत्काल बहाल किया जा सके। आवश्यक सेवाओं के साथ स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर विशेष तैयारी की जा रही है। टेलीफोन, यातायात, स्वास्थ्य सेवा, मोबाइल, इंटरनेट के साथ अहम सर्वर को लेकर विशेष अलर्ट है। बिजली की व्यवस्था को लेकर भी राज्य के सभी जिलों में विशेष वैकल्पिक तैयारी की जा रही है। इसमें हॉस्पिटल को पहली प्राथमिकता में रखा गया है।
बंगाल की खाड़ी में सक्रिय यास तूफान बुधावार की सुबह ओडिशा के बालसोल तटीय क्षेत्र में टकराया। इसके बाद बाद पश्चिम बंगाल और ओडिशा में 144 किमी प्रति घंटा की रफ्तार से हवाएं चली और तेज बारिश हुई। इसके बाद बुधवार-गुरुवार की रात दो बजे झारखंड में प्रवेश करने के बाद अब दोपहर में बांका जमुई होते हुए बिहार में एंट्री करेगा।
प्रदेश में चक्रवाती तूफान यास के कारण भारी बारिश की आशंका है। इसे देखते हुए जल संसाधन विभाग ने हाईअलर्ट कर दिया है। नदियों की निगरानी बढ़ा दी गई है। मुख्यालय की ओर से हर तीन घंटे पर नदियों के जलस्तर की रिपोर्ट मांगी गई है।चक्रवाती तूफान का असर फ्लाइट्स पर भी पड़ा है। बुधवार को 31 उड़ानें रद्द कर दी गईं। यास तूफान की वजह से कोलकाता के लिए पटना से तीनों विमानों का ऑपरेशन नहीं हो सका। दिल्ली, मुंबई, बेंगलुरु, हैदराबाद समेत अन्य शहरों के लिए 17 फ्लाइट्स की ही उड़ान हो सकी। उधर, प्रदेश के कई जिलों में रात से ही बारिश हो रही है। दरभंगा में बुधवार की रात से ही बूंदाबांदी हो रही है। तेज हवा भी चल रही है।
गुरुवार की सुबह से ही आसमान में बादल मंडरा रहे हैं। रूक-रूक कर बारिश भी हो रही है। वहीं, मधेपुरा में भी रिमझिम बारिश हो रही है।मुंगेर मे चकृवाती तूफान यास का असर दिख रहा है। बुधवार को रुक रुक कर बारिश हुई लेकिन, गुरुवार को 26 किमी की रफ्तार के साथ लगातार हो रही बारिश से तापमान में अचानक गिरावट आ गई है। लगातार हो रही बारिश और तूफान से बचाव को लेकर मछुआरों ने अपनी नावें गंगा किनारे ही बांध दी है। फिलहाल गंगा में लहर नहीं है लेकिन, नाविकों को प्रशासनिक स्तर पर नाव लेकर गंगा मे जाने की मनाही है।