Joharlive Team
रांची । आत्मसमर्पण पुनर्वास नीति से प्रभावित होकर लातेहार जिले में आतंक के पर्याय बने टीपीसी सब जोनल कमांडर गोपाल उर्फ वासुदेव गंझू ने रांची एसएसपी के समक्ष हथियार डाल दिया। वासुदेव गंझू पर 5 लाख का इनाम घोषित था। आत्मसमर्पण के दौरान यह राशि उसे दी गयी। इस दौरान पूर्व नक्सली ने बताया कि संगठन की हालत वर्तमान में काफी खराब हो गयी है। और गिने चुने लोग ही संगठन में बचे हुए हैं। वासुदेव गंझू पर लातेहार जिले में 29 से ज्यादा मामले दर्ज हैं। और पुलिस लंबे समय से उसकी तलाश कर रही थी। वासुदेव 2003 से 2013 तक भाकपा माओवादी से जुड़ा था। और उत्तरी लातेहार की कमान संभाल रहा था। जिसके बाद वह टीपीसी में शामिल हुआ और वारदातों को अंजाम देता रहा। आत्मसमर्पण के दौरान उसने एक रायफल और 4 जिंदा कारतूस पुलिस को सौंपे। रांची एसएसपी अनीश गुप्ता ने बताया कि वासुदेव पर नक्सल गतिविधि और आर्म्स एक्ट के कुल 29 मामले लातेहार, चंदवा, बालूमाथ, हेरहंज, मनिका और बरवाडीह थाने में दर्ज हैं। पुलिस को इसकी लंबे समय से तलाश थी। बतौर एसएसपी आत्मसमर्पण पुनर्वास नीति से प्रभावित होकर वासुदेव ने आत्मसमर्पण किया।
सरेंडर के दौरान पुलिस ने सरेंडर पॉलिसी के तहत उसे पांच लाख रुपये का चेक भी सौंपा। समर्पण के बाद उसने कहा कि वह स्वेच्छा से आत्मसमर्पण किया है। आत्मसमर्पण नीति से प्रभावित होकर उसने सरेंडर किया है।