नई दिल्ली: आंध्र प्रदेश के कडप्पा जिले के सिम्हाद्रिपुरम मंडल के डिड्डेकुंटा गांव में एक हृदयविदारक घटना सामने आई. कर्ज के दबाव और साहूकारों के उत्पीड़न से परेशान होकर 41 वर्षीय किसान नागेंद्र ने अपनी पत्नी और दो बच्चों के साथ आत्महत्या कर ली. नागेंद्र ने 15 एकड़ जमीन लीज पर लेकर खेती की थी और फसल उगाने के लिए 20 लाख रुपये से अधिक का कर्ज लिया था. फसल खराब हो जाने से वह घाटे में चला गया और साहूकारों ने उस पर कर्ज चुकाने के लिए दबाव बनाना शुरू कर दिया.
कर्ज और उत्पीड़न से तंग आकर नागेंद्र ने अपनी पत्नी वाणी (38), बेटी गायत्री (12), और बेटे भार्गव (11) के साथ खेत में जाकर पेड़ से लटककर आत्महत्या कर ली. पुलिस का कहना है कि संभवतः दंपति ने पहले अपने बच्चों की हत्या की और फिर खुद को फांसी लगा ली. नागेंद्र और उसका परिवार जब घर में नहीं दिखा, तो उनकी मां ने अन्य परिजनों के साथ उनकी तलाश शुरू की. अंततः उनके शव खेत में पेड़ से लटके मिले. पुलिस ने मामला दर्ज कर शवों को पोस्टमार्टम के लिए सरकारी अस्पताल भेज दिया है. कृषि मंत्री के. अच्चन्नायडू ने किसान परिवार की मौत पर शोक व्यक्त किया और घटना की जांच का आदेश दिया. जिले की प्रभारी मंत्री एस. सविता ने जिला कलेक्टर से बात कर जानकारी ली और मृतक किसान के परिवार को हरसंभव मदद का आश्वासन दिया.