Joharlive Team
- मुख्यमंत्री ने गिरिडीह जिला के लिए 300 करोड़ 99 लाख 93 हजार 343 रुपये की योजनाओं का उद्घाटन/शिलान्यास व परिसंपत्तियों का वितरण किया
गिरिडीह : आजादी के बाद से ही कृषि प्रधान देश भारत, जहां की 70% आबादी गांव में निवास करती है। उस देश में पश्चिमी औद्योगिकीकरण को थोप दिया गया। किसानों की सुध किसी ने नहीं ली। किसान आत्महत्या को मजबूर हुए। किसानों की क्रय शक्ति को बढ़ाने, उनकी आय को दोगुना करने के लिए 2014 के बाद केंद्र सरकार द्वारा प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना प्रारंभ किया गया, जिसके तहत देशभर के किसानों को अगले 10 वर्ष तक कृषि कार्य हेतु 6 हजार रुपये प्रदान किए जाएंगे। केंद्र सरकार की योजना से प्रभावित होकर और किसानों को डबल फायदा देने के उद्देश्य से राज्य सरकार ने भी मुख्यमंत्री कृषि आशीर्वाद योजना का शुभारंभ किया। इस योजना के तहत आज आपको द्वितीय किस्त की 25% राशि दी जा रही है। आने वाले दिनों में तीसरा किस्त भी आपको प्राप्त होगा। सरकार ने झारखंड के 35 लाख किसानों के खाते में 3 हजार करोड़ रुपए देने का लक्ष्य तय किया है। इस योजना से वंचित किसान जल्द अपना निबंधन कराएं और योजना की पहली व दूसरी किस्त का लाभ लें। ये बातें मुख्यमंत्री रघुवर दास ने गिरिडीह में मुख्यमंत्री कृषि आशीर्वाद योजना के तहत दी जाने वाली द्वितीय किस्त वितरण समारोह में कही।
किसी के समक्ष हाथ नहीं पहन आएंगे किसान
मुख्यमंत्री ने कहा कि केंद्र व राज्य सरकार ने 2022 तक किसानों की आय को दुगना करने और उनकी क्रय शक्ति बढ़ाने का लक्ष्य तय किया है। किसानों को योजना के तहत मिल राशि उन्हें कृषि संसाधन जुटाने में सहायक होगी। सरकार की सोच है। किसान किसी के समक्ष हाथ ना फैलाएं। बल्कि खुद की राशि से कृषि कार्य करें।
कृषि के आधुनिक तकनीक से अवगत कराना सरकार का कर्तव्य
मुख्यमंत्री ने बताया कि आधुनिक युग में तकनीक के सहारे प्रति बून्द ज्यादा फसल उत्पादन कैसे हो। इनकी बारीकियों से अवगत कराने के लिए सरकार ने दो बार किसानों को इजराइल भेजा है। इजराइल से प्रशिक्षण लेकर लौट रहे किसान अब मास्टर ट्रेनर के रूप में अपने क्षेत्र के किसानों को खेती की बारीकियों से अवगत करा रहे हैं, ताकि किसान अधिक उत्पादन कर अपनी आर्थिक समृद्धि का मार्ग प्रशस्त कर सकें।
पशुपालन भी अपनाएं किसान
मुख्यमंत्री ने किसानों से अनुरोध किया कि सिर्फ कृषि के बल पर किसान अपनी आय को दोगुना नहीं कर सकते। इसके लिए पशुपालन भी सहायक हो सकता है। यही वजह है कि राज्य की गरीब बहनों को 90% अनुदान पर गाय दिया जा रहा है। युवा भी युवा मंडल बनाकर डेयरी फार्म प्रारंभ करें। सरकार उन्हें 50% अनुदान देगी। ऐसा हुआ तो हम झारखंड में श्वेत क्रांति का आगाज कर सकते हैं।
किसानों के लिए अलग फीडर की हो रही है व्यवस्था
रघुवर दास ने बताया कि खेती के लिए सिंचाई के साधनों का होना जरूरी है। पूर्व में बड़े-बड़े बांध बने लेकिन उसका फायदा किसानों को नहीं मिला। वर्तमान सरकार नदियों में छोटा बांध बनाने और वर्षा के जल को रोकने की योजना है। ताकि किसानों को सिंचाई के लिए पानी मिल सके। किसानों के लिए अलग फीडर का निर्माण किया जा रहा है, जहां से 6 घंटे सिंचाई हेतु निर्बाध बिजली की आपूर्ति की जाएगी।
इस अवसर पर कोडरमा सांसद अन्नपूर्णा देवी, विधायक गिरिडीह निर्भय शाहाबादी, जमुआ विधायक, महापौर गिरिडीह, उपमहापौर, कृषि निदेशक छवि रंजन, उपायुक्त राहुल कुमार सिन्हा, एसपी हजारों की संख्या में किसान, सखी मंडल की महिलाएं व अन्य उपस्थित थे।