रांची। सुप्रीम कोर्ट में छठीं झारखंड लोक सेवा आयोग के नतीजों से संबंधित दाखिल स्पेशल लीव पीटिशन मामले में गुरुवार को सुनवाई हुई। सुनवाई के दौरान दोनों पक्षों की बहस पूरी करते हुए फैसले को सुरक्षित रखा गया। शीर्ष अदालत की तरफ से याचिकाकर्ता और विपक्ष की ओर से दलीलें प्रस्तुत की।
अदालत ने दोनों पक्षों की पूरी दलीलें सुनने के बाद झारखंड लोक सेवा आयोग की नियुक्ति नियमावली 2012 के तहत परीक्षा में न्यूनतम 40 फीसदी अंक की अहर्ता को मान्य रखा। यह कहा गया कि जेपीएससी नियुक्ति नियमावली 2012 के तहत प्रतियोगिता परीक्षा में न्यूनतम अंक लाना जरूरी है।
अधिवक्ता सुभाशीष रसीक सोरेन ने कहा कि मुख्य परीक्षा में न्यूनतम अहर्ता के विपरीत मेधा सूची छठीं जेपीएससी परीक्षा में जारी की गयी। मौके पर वरिष्ठ अधिवक्ता वी मोहना ने बीएस दुबे की रिपोर्ट का उदाहरण प्रस्तुत करते हुए आयोग की सभी प्रक्रिया को सही ठहराया है। उन्होंने याचिका को खारिज करने की बातें भी कहीं।