रांची: झारखंड पुलिस की 1997 बैच की महिला आईपीएस प्रिया दूबे के खिलाफ विभागीय कार्रवाई चलेगा. यह आदेश राज्य सरकार ने दिया हैं. सीबीआई ने इस मामले में राज्य सरकार को पत्र लिखा था. हालांकि, इसका जांच कौन करेगा यह अभी तय नहीं हुआ हैं. मामला एडीजी रैंक के अधिकारी का होने के कारण संभावना जतायी जा रही है कि डीजी रैंक के अधिकारी मामले की जांच करेंगे.
ईडी ने दिसंबर 2021 में अटैच किया था दंपती की संपत्ति
झारखंड पुलिस की महिला आईपीएस प्रिया दूबे और उनके पति संतोष कुमार दूबे की संपत्ति ईडी ने अटैच किया था. यह कार्रवाई ईडी ने वर्ष 2021 दिसंबर में किया था. प्रिया दूबे के पति संतोष कुमार दूबे आरपीएफ में पदस्थापित हैं. ईडी ने सीबीआई में प्रिवेंशन ऑफ करप्शन एक्ट के तहत दर्ज केस के आधार पर कार्रवाई करते हुए अलग से मनी लांड्रिंग के मामले की जांच करते हुए कार्रवाई की थी.
दिल्ली और रांची में मिला था जमीन, कमर्शियल शॉप और फ्लैट
ईडी ने अशोक नगर में 30 लाख में खरीदी गई एक जमीन, दिल्ली के डिफेंस कॉलोनी में तीन कमर्शियल शॉप व एक फ्लैट को जब्त किया था. इसके अलावा, रांची में भी ग्रीन व्यू हाइट्स में खरीदी गई फ्लैट को जप्त किया था. ईडी के अधिकारियों के मुताबिक रांची की फ्लैट की कीमत लगभग 44 लाख और दिल्ली में जप्त किए गए संपत्ति की कीमत 72.40 लाख आंकी गयी.
क्या है मामला
सीबीआई ने 10 जुलाई 2013 को आरपीएफ के तत्कालीन कमांडेंट संतोष कुमार दुबे व अन्य के खिलाफ एफआईआर दर्ज किया था. सीबीआई ने प्रिया दुबे व संतोष दुबे के द्वारा वर्ष 1998 से 2013 के बीच अर्जित सैलरी व अन्य स्रोतों से होने वाले आए की जानकारी जुटायी थी. जांच में यह बात आई थी कि अपने ज्ञात स्रोत से एक करोड़ 57 लाख 27 हजार की आय दोनों ने की थी, लेकिन उनके पास से 2 करोड़ 65 लाख की संपत्ति मिली. सीबीआई ने पाया था कि दोनों पदाधिकारी ने पद पर रहते हुए अपने आय से एक करोड़ 48 लाख अधिक की कमाई की. सीबीआई ने जांच में पाया था कि भ्रष्ट वह गलत तरीकों से यह आमदनी की गई है. सीबीआई की जांच में आए तथ्यों के आधार पर इस मामले में मनी लॉन्ड्रिंग की धाराओं के तहत केस दर्ज किया था.