नई दिल्ली: दिल्ली हाई कोर्ट में AAP नेता और पूर्व उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया की सीबीआई और ईडी मामले में जमानत याचिका पर आज शुक्रवार को सुनवाई हुई. बता दें कि सिसोदिया ने निचली अदालत के फैसले को हाईकोर्ट में चुनौती दी है. राऊज एवेन्यू कोर्ट ने दूसरी बार सिसोदिया की जमानत याचिका खारिज कर दी थी. जिसके बाद उन्होंने हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है. शुक्रवार को मामले की सुनवाई के दौरान सिसोदिया की ओर से वकील ने कहा कि सिसोदिया को निचली अदालत ने अपनी बीमार पत्नी से मुलाकात के लिए हफ्ते में एक दिन की कस्टडी परोल दी थी. आगे कहा, ‘लेकिन सिसोदिया की जमानत याचिका खारिज होने के बाद वह अपनी पत्नी से नहीं मिल पा रहे हैं. जब तक उनकी जमानत याचिका दिल्ली हाईकोर्ट में पेंडिंग है. तब तक उन्हें एक दिन की कस्टडी परोल जारी रहने की इजाजत होनी चाहिए.
कोर्ट ने ईडी से किया सवाल
इस पर कोर्ट ने ईडी से सवाल किया कि जब पिछले तीन महीने से सिसोदिया को अपनी पत्नी से हफ्ते में एक दिन मिलने की इजाजत है तो फिर अब इसे जारी रखने में क्या दिक्कत है? इसके बाद ईडी की ओर से पेश हुए वकील ने कोर्ट से वक्त की मांग. वकील ने कहा इस बारे में मैं दोपहर 12 बजे तक तथ्यों की जानकारी लेकर आपको ईडी के रुख से अवगत कराता हूं. इसके बाद हाईकोर्ट ने कहा कि ठीक है फिर हम 12 बजे मामले सुनवाई करेंगे. बता दें कि केंद्रीय सीबीआई और ईडी ने कथित आबकारी नीति घोटाले को लेकर अलग-अलग मामले दर्ज किए थे.
विशेष न्यायधीश ने सिसोदिया को राहत देने से किया था इनकार
CBI और ED मामलों की विशेष न्यायधीश ने मनीष सिसोदिया को राहत देने से इनकार करते हुए कहा था कि जमानत देने के लिए यह सही समय नहीं है. गौरतलब है कि CBI ने उन्हें 26 फरवरी 2023 को ‘घोटाले’ में कथित भूमिका के संबंध में गिरफ्तार किया था. ED ने पूर्व उप मुख्यमंत्री सिसोदिया को सीबीआई की प्राथमिकी के आधार पर धनशोधन के मामले में नौ मार्च 2023 को गिरफ्तार किया. जिसके बाद सिसोदिया ने दिल्ली मंत्रिमंडल से 28 फरवरी 2023 को इस्तीफा दे दिया था.