हजारीबाग: गोंदुलपारा खनन परियोजना के तहत रैयतों को प्रति एकड़ लगभग 24,56,986 रुपए का मुआवजा मिलेगा. सेक्शन 19 की प्रक्रिया पूरी होने के बाद सरकार ने रैयतों के लिए 478 करोड़ रुपए जमा कर दिए हैं. इस परियोजना में बड़कागांव के बलोदर में 91.35 एकड़, गोंदुलपारा में 285.715 एकड़, गाली में 175.45 एकड़ और चंदौल में 161.99 एकड़ जमीन का अधिग्रहण किया जाएगा. इससे जिले में लगभग 10,000 प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रोजगार के अवसर पैदा होंगे, जबकि राज्य को प्रतिवर्ष लगभग 500 करोड़ रुपए का राजस्व प्राप्त होगा.
ये होगा विकल्प
- प्रति एकड़ मुआवजा: 24,56,986 रुपए, जिसमें सभी घटक शामिल हैं.
- भूमि परिसम्पत्तियों का मुआवजा: राज्य सरकार संबंधित विभाग द्वारा मूल्यांकन के बाद दुगुना मुआवजा देगी.
- विस्थापित परिवारों के लिए विकल्प: 10 लाख रुपए का मुआवजा या नए मकान का आवंटन या भूमि के एक प्लॉट का आवंटन.
रोजगार और आर्थिक सहायता के अवसर
परियोजना के तहत विस्थापित परिवारों को रोजगार के अवसर भी मिलेंगे. प्रभावित परिवार एकमुश्त 5 लाख रुपए या 20 वर्षों तक हर महीने 2000 रुपए का चयन कर सकते हैं. इसके अलावा विस्थापित परिवारों को जीवनयापन के लिए अनुदान के रूप में हर महीने 3000 रुपए, पुनर्वास भत्ते के रूप में 50,000 रुपए, परिवहन खर्च के तहत 50,000 रुपए और पशुबाड़े के लिए 35,000 रुपए दिए जाएंगे.