Joharlive Team
रांची/नई दिल्ली। वैश्विक महामारी कोरोना वायरस से निपटने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आह्वान पर रविवार सुबह सात बजे से रात नौ बजे तक पूरे देश में जनता कर्फ्यू लगाया गया है।
वहीं राजधानी रांची की सड़कें बिलकुल सुनसान हो गई है। दुकान बाजार पूरी तरह से बंद हैं। लोगों ने खुद को पूरी तरह से घर के अंदर कैद कर लिया है। मॉर्निंग वॉक पर जाने वालों ने भी आज घर से बाहर निकलना मुनासिब नहीं समझा। वहीं, हमेशा कि तरह चौक-चौराहों पर ट्रैफिक पुलिस के जवान तैनात रहे। सबसे व्यस्त मानी जाने वाला मेन रोड की भी दुकानें पूरी तरह से बंद रही। वहीं, रेलवे स्टेशन व बस स्टैंड पर भी यात्री नजर नहीं आए।
जनता कर्फ्यू को लेकर प्रशासन की ओर से कोई दिशा-निर्देश जारी नहीं किया गया है। यह कर्फ्यू, जनता को खुद लगाना है। इसलिए लोगों पर किसी तरह का कोई दबाव नहीं दिया गया है। पुलिस और ट्रैफिक पुलिस के जवान हमेशा की तरह अपनी ड्यूटी पर तैनात दिखे। जो इक्का-दुक्का लोग सड़क पर नजर आए, जवानों ने उनसे घर में रहने की अपील जरूर की।
जनता कर्फ्यू को लेकर लोगों के बीच शनिवार को काफी बातचीत सामने आई। सभी की जुबान पर एक बात कॉमन थी कि कोरोना के बढ़ते प्रभाव में जनता कर्फ्यू बेहद जरूरी है। लोग इसे सपोर्ट करते नजर आए। वहीं, साेशल मीडिया पर भी जनता कर्फ्यू में लोगों को घरों में ही रहने की अपील काफी चर्चा में रही। कई लोगों ने तो जनता कर्फ्यू के सपोर्ट में लिखी बातों को वाट्सअप अकाउंट में अपनी डीपी तक बना ली।
कोरोनावायरस के संक्रमन से बचने के लिए रविवार काे जनता कर्फ्यू लगाया गया है। इस वजह से रांची रेल डिवीजन ने सभी ट्रेनाें काे रद्द कर दिया है। रांची और हटिया स्टेशन से एक भी ट्रेन का परिचालन नहीं हुआ। केवल मालगाड़ी काे चलने की अनुमति मिली है। वहीं, शनिवार को रांची और हटिया टीकट आरक्षण काउंटर से 1281 यात्रियाें ने टिकट रद्द कराया। इसके एवज में रेलवे ने 5 लाख 59 हजार 845 रुपए रिफंड किया।