Joharlive Desk
नई दिल्ली। टिकरी बॉर्डर पर कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों का प्रदर्शन आज 42वें दिन भी जारी है। प्रदर्शन स्थल पर एक कश्मीरी युवा पिछले एक महीने से लंगर दे रहे हैं। उन्होंने बताया, “यहां लोगों को बहुत परेशानी हो रही है। हम हर तरह का लंगर चला रहे हैं। जो कुछ भी हमारे पास है हम दे रहे हैं।”
बारिश और ओले ने किसानों की फसलों को ही नहीं किसानों के आंदोलन को भी हानि पहुंचाई है। बारिश के कारण दिल्ली की सीमाओं पर प्रदर्शन कर रहे किसान काफी परेशान हैं। टिकरी बॉर्डर पर कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों का प्रदर्शन आज 42वें दिन भी जारी है। प्रदर्शन स्थल पर एक कश्मीरी युवा पिछले एक महीने से लंगर दे रहा है। उसने बताया, ‘यहां लोगों को बहुत परेशानी हो रही है। हम हर तरह का लंगर चला रहे हैं। जो कुछ भी हमारे पास है हम दे रहे हैं।’
आज सुबह से ऐसी बारिश हो रही है कि दिल्ली के कई इलाकों में काले बादल छाने से रात जैसा अंधेरा हो गया। दिल्ली के अलावा आज गाजियाबाद, नोएडा, गुरुग्राम और फरीदाबाद में भी बारिश हो रही है।
स्काईमेट वेदर के प्रमुख मौसम विज्ञानी महेश पलावत के अनुसार, बुधवार से पश्चिमी विक्षोभ का असर खत्म हो रहा है। इस वजह से अब दिल्ली को ठंड की ठिठुरन के बीच बारिश से राहत मिल सकती है। गुरुवार से एक और पश्चिमी विक्षोभ के सक्रिय होने की भी संभावना है।
हालांकि, इसका असर दिल्ली में देखने को नहीं मिलेगा जिससे बारिश होने की संभावना नहीं है। उन्होंने बताया कि आगामी 10 जनवरी तक दिल्ली वासियों को अधिक सर्दी से राहत मिलेगी। इसके बाद न्यूनतम तापमान में कमी आना शुरू होगी जिससे जनवरी की सर्दी का एहसास होगा।