बोकारो – जिला के बेरमो में झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन द्वारा कुर्मी जाति के विरुद्ध बयान देने के विरोध में मंगलवार को पुराना बीडीओ ऑफिस फुसरो में कुर्मी समाज ने पुतला दहन कर विरोध जताया. पुतला दहन में काफी संख्या में कुर्मी समाज के पुरुष महिलाएं शामिल थे. लोगों ने हेमंत सोरेन मुर्दाबाद, कुर्मी जाति को आदिवासी की सूची में शामिल करना होगा आदि नारे लगा रहे थे. कुर्मी नेता सूरज महतो और दिगंबर महतो ने कहा कि कुर्मी जाति 1950 तक आदिवासी की सूची में शामिल था लेकिन एक साजिश के तहत सूची से कुर्मी जाति को एसटी की सूची से हटा दिया गया। विधानसभा में पिछले दिनों विधायक डॉ. लंबोदर महतो द्वारा कुर्मी जाति को एसटी की सूची में शामिल करने की मांग पर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन द्वारा यह कहा जाना कि कुर्मी जाति एसटी की सूची में शामिल होकर क्या करेगा? काफी निंदनीय है. कहा कि जब तक कुर्मी जाति को एसटी की सूची में शामिल नहीं किया जाएगा, तब तक कुर्मी समाज पूरे झारखंड में विरोध करेगा। शंभूनाथ महतो ने कहा कि झारखंड के आंदोलन के जनक स्व. विनोद बिहारी महतो के संरक्षण और सहयोग से श्री शिबू सोरेन नेता बने और उनके पुत्र हेमंत सोरेन मुख्यमंत्री की कुर्सी में बैठकर कुर्मी जाति का विरोध कर रहे हैं. आने वाले विधानसभा चुनाव में कुर्मी समाज विरोध कर झामुमो (एस) इंडी गठबंधन को सत्ता से बेदखल करेगा. गिरधारी महतो ने कहा कि मुख्यमंत्री हेमंत कुर्मी जाति का विरोध कर रहे हैं. इस मौके पर पूर्व शिक्षक घनश्याम महतो ने भी कहा हेमंत सोरेन कुर्मी की उपेक्षा कर रहे है इसका असर चुनाव पर पड़ेगा. इस मौके पर हेमलाल महतो, धनेश्वर महतो, नेपाल महतो, जगदीश महतो, विनोद महतो, अशोक महतो, हेमंत महतो, चिंतामणि महतो, बद्री महतो, सुरेश महतो, देवनारायण महतो, प्रेमचंद महतो, कैलाश महतो, लालमोहन महतो, राजेंद्र महतो, बबलू महतो, बसंत महतो, विष्णु देवी, गंगोत्री देवी, मेनका देवी, मीना देवी, चंपा देवी, सावित्री देवी, ललिता देवी, शांति देवी, फूलमनी देवी, सीता देवी सहित काफी संख्या में लोग उपस्थित थे.