Joharlive Team

चाईबासा। पश्चिम सिंहभूम जिले में टोंटो थाना क्षेत्र अंतर्गत सुदूरवर्ती गांवों और उनके आसपास के क्षेत्रों में प्रतिबंधित भाकपा माओवादी संगठन के द्वारा ग्रामीण मुंडा और डाकुआ को संबोधित करते हुए कुछ हस्तलिखित पत्र फेंके गए हैं। पर्चें फेंक कर ग्राम प्रधान और मुंडा से स्थानीय युवक-युवतियों को संगठन में भर्ती करने के लिए हर गांव से 10 युवकों की मांग की गई है।

भाकपा माओवादी के पर्चे फेंके जाने के बाद गांव में लोगों के बीच भय का माहौल है. इसकी जानकारी पश्चिम सिंहभूम पुलिस अधीक्षक इंद्रजीत माहथा को हुई और उन्होंने पदाधिकारी को सूचित करते हुए सन्हा दर्ज करने का निर्देश दिया है। पश्चिम सिंहभूम जिला पुलिस एवं सीआरपीएफ के जवानों के द्वारा नक्सलियों के खिलाफ चलाए जा रहे निरंतर अभियान के बाद नक्सली संगठन कमजोर हुआ है, जिसके बाद नक्सलियों ने अपने संगठन को मजबूत करने के लिए गांव-गांव में पर्चा बांट कर ग्राम प्रधान और मुंडा से स्थानीय युवक-युवतियों को संगठन में भर्ती करने के लिए प्रत्येक गांव से 10 लोगों की मांग की गई है। इस मांग को देखते हुए सुदूरवर्ती गांव में दहशत का माहौल कायम हो गया है।

इसके साथ ही भाकपा माओवादियों ने सुदूरवर्ती गांवों में लौटे प्रवासी मजदूरों पर निगाहे बना रखी है, जिन्हें अपने संगठन में शामिल करके अपना संगठन को मजबूत बनाने की फिराक में है। भाकपा माओवादियों के पर्चें फेंके जाने के बाद ग्रामीण युवा दहशत में हैं। इसके साथ ही पुलिस मुठभेड़ में मारी गई तीन महिलाओं के नाम पर नक्सलियों ने सहानुभुति जताई है. इसको लेकर नक्सली अपने संगठन के मारे गए तीन महिला नक्सली साथियों का बदला लेने को लेकर जिले के विभिन्न क्षेत्रों में कई बार पोस्टर लगाकर पुलिस को मारने की धमकी भी दे रहे हैं।

नक्सली संगठन योजनाबद्ध तरीके से ग्राम प्रधान, मुंडा व डाकुवा को संबोधित करते हुए पत्र जारी किया है। इस फरमान से दहशत में आए ग्रामीणों ने पुलिस को गुप्त रुप से इसकी जानकारी दे दी। जिसके बाद पुलिस सक्रीय होकर जांच कर रही है. इसमें पुलिस ने प्रतिबंधित भाकपा माओवादी प्रशांत बोस, मिसिर बेसरा, अनमोल, मोछु, सुरेश मुंडा, कांडे होनहागा, लोदरो लोहार, राहत, सागेन अनिता समेत अन्य संगठन के माओवादी के विरुद्ध मामला दर्ज किया है।

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