ओडिशा : लोकसभा और विधानसभा चुनावों में बीजू जनता दल (बीजेडी) की करारी हार के कुछ दिनों बाद पूर्व सीएम नवीन पटनायक के करीबी वीके पांडियन ने राजनीति से संन्यास ले लिया है. उन्होंने सक्रिय राजनीति छोड़ दी है. वीके पांडियन ने एक वीडियो जारी कर अपने फैसले की घोषणा की. वीके पांडियन को पूर्व सीएम पटनायक का उत्तराधिकारी माना जाता था. बीजेडी की हार के बाद से पांडियन सार्वजनिक रूप से नहीं दिखे और वे पार्टी नेताओं की बैठक में भी शामिल नहीं हुए.

पांडियन बीजेडी की बैठक में भी शामिल नहीं हुए

वीके पांडियन न तो 5 जून को नवीन पटनायक के साथ इस्तीफा देने राजभवन गए और न ही वे उनके आवास पर आयोजित पार्टी नेताओं की बैठक में शामिल हुए. उन्होंने एक वीडियो जारी कर कहा, “राजनीति में आने का मेरा एकमात्र उद्देश्य नवीन बाबू (पटनायक) का समर्थन करना था. अब मैंने सक्रिय राजनीति छोड़ने का फैसला किया है.”

वीके पांडियन ने कहा, “अगर इस यात्रा में मुझसे कोई गलती हुई है तो मैं उसके लिए माफी मांगता हूं. अगर मेरे खिलाफ चलाए गए नैरेटिव कैंपेन की वजह से बीजेडी को चुनाव में हार का सामना करना पड़ा है तो मैं इसके लिए पूरे बीजेडी परिवार से माफी मांगता हूं. लाखों बीजेडी कार्यकर्ताओं को शुभकामनाएं.”

वीके पांडियन के बारे में नवीन पटनायक ने क्या कहा?

हालांकि, चुनाव में पार्टी की करारी हार को लेकर वीके पांडियन की आलोचना पर अपने जवाब में नवीन पटनायक ने शनिवार को कहा था कि पार्टी की हार के लिए पांडियन की आलोचना “दुर्भाग्यपूर्ण” है और उन्होंने कहा कि उन्होंने “बहुत बढ़िया काम” किया है. नवीन पटनायक ने यह भी दोहराया कि पांडियन उनके उत्तराधिकारी नहीं हैं और ओडिशा के लोग तय करेंगे कि उनका उत्तराधिकारी कौन होगा.

 

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