रांची : झारखंड में नवजात बच्चों को जन्म के बाद मां का दूध नहीं मिल पाता. इसी उद्देश्य से राज्य में मिल्क बैंक खोलने की घोषणा हुई थी. अब मिल्क बैंक खोलने का रास्ता साफ हो गया है. विभाग ने चार जिलों में ह्यूमन मिल्क बैंक खोलने के लिए टेंडर निकाला है. सेलेक्ट होने वाली एजेंसी को छह महीने में बैंक तैयार करना होगा. वहीं डोनेशन के लिए ट्रेनिंह सेशन भी आर्गनाइज करना होगा. इस बैंक में ह्यूमन मिल्क मिलेगा. जहां पर महिलाएं आकर मिल्क डोनेट कर सकेगी. ये मिल्क प्रोसेस करने के बाद बैंक में स्टोर किया जाएगा. इसके बाद जरूरतमंद बच्चों को यह दूध बैंक से मिलेगा. बता दें कि एक यूनिट के लिए 40 लाख रुपये का खर्च होगा. सरकार ने एक करोड़ 60 लाख रुपये मंजूर कर दिए थे.
ब्लड बैंक की तरह ह्यूमन मिल्क बैंक
स्वास्थ्य विभाग ने ब्लड बैंक की तर्ज पर राज्य में मिल्क बैंक शुरू करने की योजना बनाई है. मिल्क बैंक दरअसल मदर मिल्क बैंक होता है, जो मां के दूध से वंचित बच्चों के स्वास्थ्य के लिए काफी मददगार साबित हो सकता है. जरूरतमंद नवजात शिशुओं मिल्क बैंक के माध्यम दूध मुहैया कराया जा सकेगा. मिल्क बैंक में नवजात शिशुओं के लिए मां का सुरक्षित दूध स्टोर किया जाता है. इसकी मदद से उन नवजात शिशुओं को मां का दूध उपलब्ध कराया जाता है जिनकी मां किसी कारणवश अपने बच्चे को स्तनपान करा पाने में असमर्थ होती हैं. मिल्क बैंक में दो तरह की महिलाएं दूध दान करती है, पहली स्वेच्छा से और दूसरी वे माताएं जो अपने बच्चों को दूध नहीं पिला सकतीं. ह्यूमन मिल्क बैंक का दूध बच्चों में होने वाले इंफेक्शन के खतरे को कम करने में मददगार साबित होता है और बच्चे की इम्युनिटी भी बढ़ाता है.
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