दिल्ली: कथित शराब घोटाला मामले में आरोपी दिल्ली के पूर्व डिप्टी सीएम और आम आदमी पार्टी (आप) नेता मनीष सिसोदिया को आज राऊज एवेन्यू कोर्ट में पेश किया गया है. इस मामले में आप के राज्यसभा सांसद संजय सिंह की जमानत हो चुकी है, लेकिन केस की सुनवाई में आना जरूरी है. वहीं मनीष सिसोदिया की आज न्यायिक हिरासत खत्म हो रही है. कई महीनों बाद दोनों एक साथ कोर्ट रूम में मौजूद हैं.
इससे पहले मनीष सिसोदिया ने अपने विधानसभा क्षेत्र के लोगों को तिहाड़ जेल से एक चिट्ठी लिखी थी, जिसमें उन्होंने अपनी स्थिति की तुलना स्वतंत्रता सेनानियों के खिलाफ अंग्रेजों के किए गए अत्याचारों से की और शिक्षा के लिए अपनी प्रतिबद्धता जताई थी. दिल्ली आबकारी नीति घोटाला मामले में गिरफ्तार किए गए दिल्ली के डिप्टी सीएम सिसोदिया ने यह उम्मीद भी जताई थी कि वह जल्द ही जेल से बाहर निकलेंगे.
क्या लिखा था उस चिट्ठी में?
चिट्ठी में उन्होंने लिखा था कि ”जल्द ही आपसे बाहर मिलूंगा. अंग्रेज शासकों को भी सत्ता का अहंकार था और उन्होंने लोगों को झूठे मामलों में जेल भी भेजा था. साथ ही ” उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी और नेल्सन मंडेला उनकी प्रेरणा हैं, जिन्होंने कई साल जेल में बिताई थी.” आप नेता सिसोदिया की जमानत पर शनिवार को दिल्ली की एक अदालत में सुनवाई हो रही है. पूर्वी दिल्ली में अपने विधानसभा क्षेत्र पटपड़गंज के लोगों को लिखे पत्र में, सिसोदिया ने कहा कि अच्छी शिक्षा और विद्यालयों के लिए उसी तरह संघर्ष चल रहा है, जैसे लोगों ने देश की आजादी के लिए लड़ा था.
गिरफ्तारी से पहले केजरीवाल सरकार में शिक्षा मंत्री रह चुके मनीष सिसोदिया ने पत्र में कहा, ‘शिक्षा क्रांति जिंदाबाद. आप सभी को प्यार.’ जेल में रहने के दौरान अपने निर्वाचन क्षेत्र के लोगों के प्रति उनका प्यार बढ़ गया है और वे सभी उनकी ताकत हैं. उन्होंने कहा कि अंग्रेज शासकों की तानाशाही के बावजूद आजादी का सपना साकार हुआ. ठीक इसी प्रकार, हर बच्चे को एक दिन अच्छी शिक्षा मिलेगी. विकसित देश के लिए अच्छी शिक्षा जरूरी है.”