रांची : 43 मंत्रियों में कोडरमा सांसद सह बीजेपी की राष्ट्रीय उपाध्यक्ष अन्नपूर्णा देवी भी शामिल रहीं। कभी आरजेडी सुप्रीमो लालू यादव के काफी करीब रही अन्नपूर्णा देवी ने वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव में राजद को छोड़ दिया था। आखिरी मौके पर बीजेपी में शामिल होकर सभी को चौंका दिया था।
अन्नपूर्णा देवी पहली बार सांसद चुनी गईं
कोडरमा से लोकसभा चुनाव जीतने के बाद से सांसद अन्नपूर्णा देवी का कद बीजेपी में लगातार बढ़ता रहा। पहले उन्हें झारखंड बीजेपी का प्रदेश उपाध्यक्ष बनाया गया। इसके बाद पार्टी ने इन्हें राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और हरियाणा का सह प्रभारी भी बनाया। अब अन्नपूर्णा देवी को मोदी मंत्रिमंडल में शामिल कर लिया गया।
पति की मौत के बाद सियासत में कदम
सांसद अन्नपूर्णा देवी पोस्ट ग्रेजुएट तक की पढ़ाई की हैं। इनका विवाह रमेश प्रसाद यादव से हुआ था। वो 1998 में एकीकृत बिहार में मंत्री भी थे। रमेश प्रसाद यादव के निधन के बाद 1999 में अन्नपूर्णा देवी ने विधानसभा का उपचुनाव लड़ा और पहली बार विधायक बनीं। सालभर बाद हुए चुनाव में दूसरी बार जीतने पर एकीकृत बिहार में मंत्री बनीं। 2013 में तत्कालीन हेमंत सोरेन सरकार में अन्नपूर्णा देवी जल संसाधन मंत्री बनीं। मगर एक साल बाद साल 2014 में उन्हें विधानसभा चुनाव में हार का सामना करना पड़ा था।
2019 में बीजेपी में एंट्री, 2021 में मंत्री
अन्नपूर्णा देवी ने 2019 में लालू यादव के आरजेडी को छोड़कर बीजेपी का दामन थामा था और इस चुनाव में झारखंड विकास मोर्चा के प्रत्याशी बाबूलाल मरांडी को करीब साढ़ 4.5 लाख वोट से हराकर सांसद बनीं। हालांकि अब बाबूलाल मरांडी झारखंड बीजेपी के बड़े नेता हैं। सांसद के रूप में अन्नपूर्णा देवी का ये पहला कार्यकाल है। इससे पहले अन्नपूर्णा देवी झारखंड और बिहार से 4 बार विधायक भी रह चुकी हैं।