रांची। झारखंड हाई कोर्ट के न्यायाधीश जस्टिस एस चंद्रशेखर और जस्टिस रत्नाकर भेंगरा की खंडपीठ में गुरुवार को कोयला उठाव को लेकर तिरुपति इंटरप्राइजेज की ओर से दाखिल अवमानना वाद पर सुनवाई हुई। सुनवाई के दौरान जेएमएसडीसी के एमडी अमित कुमार अदालत के समक्ष सशरीर उपस्थित रहे।
उन्होंने कोर्ट को जानकारी दी कि कंपनी को कोयला का उठाव करने के लिए 45 दिनों की मोहलत दी गई है, जिसके बाद अदालत ने याचिकाकर्ता को जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया है। सिकनी कोल माइंस से आवंटन होने के बाद भी कोयला नहीं मिलने को लेकर तिरुपति इंटरप्राइजेज ने हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। राज्य सरकार की ओर से महाधिवक्ता राजीव रंजन ने बहस की।
याचिकाकर्ता की ओर से कहा गया कि सिकनीन (लातेहार) में वर्ष 2020 में एक लाख टन कोयले के आवंटन का आदेश हुआ था लेकिन तिरुपति इंटरप्राइजेज को 75 हजार 800 टन कोयला नहीं मिला। अब इस मामले की अगली सुनवाई की तिथि 20 दिसंबर मुकर्रर की गई है।