रांची। झारखंड हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस संजय कुमार मिश्र की अध्यक्षता वाली खंडपीठ में शुक्रवार को दूध में मिलावट सहित मिलावटी खाद्य पदार्थों के मामले में कोर्ट के स्वत: संज्ञान मामले पर सुनवाई हुई। कोर्ट ने सरकार का जवाब नहीं आने पर कड़ी नाराजगी जतायी। कोर्ट ने मौखिक कहा कि अगली सुनवाई तक अगर जवाब दाखिल नहीं होता है तो स्वास्थ्य सचिव को कोर्ट में उपस्थित होना होगा। कोर्ट ने मामले की सुनवाई 16 जून निर्धारित की है।
पिछली सुनवाई में हाई कोर्ट ने राज्य सरकार को विस्तृत जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया था। कोर्ट ने राज्य सरकार से खाद्य पदार्थों की जांच से संबंधित एक साल का विवरण मांगा था।
कोर्ट ने सरकार से पूछा था कि राज्य के जिलों में फूड सेफ्टी ऑफिसर के द्वारा प्रति माह कितने खाद्य पदार्थों (कच्चे और पक्के) के सैंपल को एकत्रित किया गया। इसमें से कितने सैंपल गलत पाए गए, जो खाद्य पदार्थ के सैंपल गलत पाए गए उनके संचालकों के खिलाफ क्या कार्रवाई हुई। लैब में खाद्य पदार्थों की किस-किस तरह की जांच होती है। इन सारी चीजों के बारे में हाई कोर्ट ने सरकार को शपथ पत्र दाखिल करने का निर्देश दिया था। मामले में एमिकस क्यूरी पीयूष पोद्दार ने पैरवी की।