रांचीः नन बैंकिंग कंपनी के अभिकर्ता और निवेशक अपनी गाढ़ी कमाई का पैसा वापस दिलाने की मांग को लेकर एक बार फिर सड़क पर उतर आए हैं. इसी कड़ी में मंगलवार को राजभवन के समक्ष एक दिवसीय धरना-प्रदर्शन कर पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी और राज्य के वित्त मंत्री रामेश्वर उरावं का पुतला दहन किया.
नन बैंकिंग अभिकर्ता और निवेशक सुरक्षा समिति के अध्यक्ष जावेद अख्तर ने कहा कि राज्य में पिछली बार हेमंत सोरेन की जब सरकार थी उस समय तमाम नन बैंकिंग कंपनियों को बंद करने का आदेश SEBI की ओर से दिया गया था. आज भी हेमंत सरकार की झारखंड सरकार है लेकिन नन बैंकिंग कंपनियों को लेकर कोई ठोस पहल नहीं किया जा रहा है. जिसको लेकर झारखंड के वित्त मंत्री रामेश्वर उरांव और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का पुतला दहन किया गया. इस पर मौजूदा सरकार अगर कोई ठोस कदम नहीं उठाती है तो आगे चलकर एक-एक विधायक के घर पर जाकर धरना-प्रदर्शन और विरोध का कार्यक्रम किया जाएगा.
देशभर में सैकड़ों नन बैंकिंग कंपनियां SEBI and RBI की अहर्ता को पूरी किए बगैर धड़ल्ले से संचालित है. जिसपर साल 2013 में सेबी ने कार्रवाई करते हुए तमाम नन बैंकिंग कंपनियों के दफ्तर को सील कर निवेशकों के जमा पूंजी को जब्त कर लिया. 8 साल बीत जाने के बाद भी उन्होंने बैंकिंग कंपनियों के अभिकर्ता और निवेशकों के जमा पैसा नहीं मिल पाया है. हालांकि छत्तीसगढ़ सरकार ने पहल करते हुए अपने राज्य के निवेशकों का जमा पैसा वापस दिलाने का काम कर रही है. इसी तर्ज पर झारखंड सरकार भी निवेशकों के जमा पैसा वापस दिलाएं, इसको लेकर नन बैंकिंग अभिकर्ता एवं निवेशक सुरक्षा समिति ने राज्य सरकार से गुहार लगायी है.
देशभर में सैकड़ों नन बैंकिंग कंपनियां SEBI and RBI की अहर्ता को पूरी किए बगैर धड़ल्ले से संचालित है. जिसपर साल 2013 में सेबी ने कार्रवाई करते हुए तमाम नन बैंकिंग कंपनियों के दफ्तर को सील कर निवेशकों के जमा पूंजी को जब्त कर लिया. 8 साल बीत जाने के बाद भी उन्होंने बैंकिंग कंपनियों के अभिकर्ता और निवेशकों के जमा पैसा नहीं मिल पाया है. हालांकि छत्तीसगढ़ सरकार ने पहल करते हुए अपने राज्य के निवेशकों का जमा पैसा वापस दिलाने का काम कर रही है. इसी तर्ज पर झारखंड सरकार भी निवेशकों के जमा पैसा वापस दिलाएं, इसको लेकर नन बैंकिंग अभिकर्ता एवं निवेशक सुरक्षा समिति ने राज्य सरकार से गुहार लगायी है.