रांची : झारखंड हाई कोर्ट के न्यायमूर्ति संजय कुमार द्विवेदी कि पीठ ने भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता प्रतुल शाहदेव के खिलाफ लातेहार के बालूमाथ थाने में दायर प्राथमिकी को निरस्त कर दिया है. मंटु राम नामक व्यक्ति ने प्रतुल शाहदेव पर मारपीट करने,जाति सूचक शब्दों का प्रयोग करने एवं हत्या के प्रयास करने का आरोप लगा कर बालूमाथ थाने में प्राथमिकी दर्ज की थी. प्रतुल शाहदेव ने अपने आवेदन में खुद को निर्दोष बताते हुए कहा था कि उनके द्वारा शासन-प्रशासन के गठबंधन से चंदवा के अभिजीत प्लांट में चलाए जा रहे स्क्रैप के लूट के खिलाफ आवाज उठाने के कारण स्क्रैप माफिया की शह पर यह प्राथमिक की दर्ज की गई.

अदालत ने अपने आदेश में प्राथमिकी को निरस्त करते हुए कहा कि अगर किसी निर्दोष व्यक्ति को अदालत के सामने बदनीयती से गलत प्राथमिकी दर्ज कर फंसाया जाएगा तो अदालत को हस्तक्षेप करना ही पड़ता है. उच्च न्यायालय ने कहा कि पूरी प्लानिंग करके शिकायतकर्ता ने प्राथमिक में ऐसी घटनाओं का उल्लेख किया है. जींस लगाई गई धाराओं को बल मिल सके. अदालत ने कड़ी टिप्पणी करते हुए कहा कि यह प्राथमिकी एक सोची समझी प्लानिंग के तहत किया गया है.

प्रतुल की ओर से वरीय अधिवक्ता और पूर्व महाधिवक्ता अजीत कुमार, अपराजिता भारद्वाज आदि ने पैरवी की. राज्य सरकार की ओर से मनोज कुमार ,दीपंकर और शिकायतकर्ता की और से साहिल ने पैरवी की.

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