रांची : झारखंड में कुहासे का असर देख जा रहा है। ठंढ में भी इजाफा हुआ है। हवा में कनकनी बढ़ी है। मौसम विभाग के विशेषज्ञों की माने तो मौसम खुलने के बाद बादल हटने के बाद ठंढ और बढ़ेगी। रांची के अलावा इसका सबसे ज्यादा असर पलामू में भी देखने को मिलेगा। 5 जनवरी के बाद मौसम में बदलाव देखने को मिलेगा। बादल छंटते ही ठंढ बढ़ेगी। यह कहना है मौसम विज्ञानिक अभिषेक आनंद का। उन्होंने बताया कि मौसम विज्ञान केंद्र के रिकॉर्ड बता रहे है कि झारखंड में कुहासे और उत्तर से आ रही बर्फीली हवाओं के कारण कनकनी में इजाफा होगा। अभी प्रदेशभर में बादल छाए होने के कारण अधिकतम तापमान सामान्य से नीचे चल रहा है।

ठंड की वजह से 8 जनवरी तक 5वीं तक की कक्षाओं पर रोक

मौसम में हो रहे बदलाव के देखते हुए डॉक्टरों की सलाह है कि बच्चों और बुजुर्गों को बचा कर रहें। झारखंड में मौसम विभाग ने अलर्ट जारी कर दिया है। ठंढ की वजह से 8 जनवरी तक प्रशासन ने पांचवी तक की कक्षाओं पर भी रोक लगा दिया है। डॉक्टरों का कहना है कि अगर काम ना हो, तो घर से बाहर न निकले। सिरदर्द, सीने में जकड़न और दर्द, मांसपोशियों में दर्द, खांसी जुकाम, सांस देने में दिक्कत और बुखार को हल्के में न लें। यह ठंढ लगने के लक्षण है।

ठंढ की वजह से हो सकती है पंच बीमारियां

एचईसी अस्पताल के पूर्व सीएमओ एमडी डॉ. केके कदम कहते है कि ज्यादा ठंढ की वजह से पंच बीमारियां हो सकती है। जिसमें सर्दी कॉमन है। ठंढ में अर्थराइटिस पेशेंट्स को सतर्क रहना चाहिए। उनके जोड़ों में दर्द बढ़ सकता है। दूसरी तरफ सर्दियों में सांस की नली में सूजन बढ़ जाती है। सीने में जकड़न और खांसी महसूस होता है। जिससे सांस लेने में परेशानी हो सकती है। डॉ. कदम के अनुसार ठंढ मे खान पान का ध्यान रखना चाहिए। गर्म खाना लेना चाहिए। गर्म पानी पीने से ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है। गर्म पानी पीने से सीने में बलगम जमा नहीं होता और पेट भी साफ रहता है। इससे जोड़ों में अकड़न की समस्या दूर होती है।

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