रांची : झारखंड में उग्रवादियों की जैसे शामत आ गई हो. एक ओर पुलिस लगातार अभियान चलाकर नक्सलियों का खात्मा करने पर तुली है. वहीं, अब झारखंड पुलिस को इस काम में आम लोगों का भी साथ मिलने लगा है. हाल ही में पीएलएफआई से जुड़े उग्रवादी मोटा टाइगर को ग्रामीणों ने मार डाला था और अब उसी के शागिर्द गोमिया नामक उग्रवादी को भी चाईबासा के गुदड़ी में ग्रामीणों ने घेरकर रविवार को मौत के घाट उतार दिया.
हालांकि, इस संबंध में अभी आधिकारिक पुष्टि नहीं है. एसपी आशुतोष शेखर का कहना है कि क्षेत्र में इसकी चर्चा तो है लेकिन अभी किसी उग्रवादी की बॉडी बरामद नहीं हो पाई है. मामले की छानबीन चल रही है.
क्या है पूरा मामला
सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, पीएलएफआई से जुड़ा गोमिया नामक उग्रवादी वह बांदू का रहने वाला था. जो मोटा टाइगर का शागिर्द था और गुदड़ी के गिरू में हुए दोहरे हत्याकांड में नामजद अभियुक्त भी था. दोहरे हत्याकांड के बाद ग्रामीण लगातार उसकी तलाश कर रहे थे. वहीं, जिले के गुदड़ी, सोनुवा, गोईलकेरा में अन्य उग्रवादी घटनाओं से लोग आजीज आ चुके थे. ऐसे में स्थानीय लोगों ने इन उग्रवादियों पर लगाम कसने की रणनीति बना ली थी. शुक्रवार को ही गुदड़ी के लोढ़ाई में हुई इस बैठक में आसपास के तीस गांवों के लोग शामिल हुए. इसमें ऐसे आरोपियों के सेंदरा करने का निर्णय लिया गया. इसी क्रम में गोमिया उनके हाथ लग गया. सके बाद लोगों ने सैकड़ों लोगों ने घेरकर उसका काम तमाम कर दिया.
दोहरे हत्याकांड से आक्रोश में थे लोग
बता दें कि गुदड़ी के गिरू गांव में 24 नवंबर को रवि तांती और खूंटी निवासी सनसा टोपनो की धारदार हथियार से हत्या कर दी गई थी. सनसा रवि के घर मिलने आये थे. इस वारदात में परिवार के अन्य सदस्यों ने भाग कर जान बचायी थी. घटना में गुदड़ी पुलिस ने पीएलएफआई कमांडर मोटा टाइगर व गोमिया के ऊपर हत्या व उग्रवादी हिंसा का केस दर्ज किया था. इसके तीन दिन बाद 27 नवंबर की शाम को अज्ञात अपराधियों ने गोइलकेरा भरडीहा बाजार में सेरेंगदा गांव के युवक नमन लोमगा की पीट-पीट कर हत्या कर दी थी.
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