Joharlive Desk
नई दिल्ली : पश्चिम बंगाल, असम, केरल, तमिलनाडु और पुडुचेरी में विधानसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान हो चुका है। मुख्य चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा ने शुक्रवार शाम को इसका ऐलान किया। असम में 3, केरल, पुडुचेरी और तमिलनाडु में सिंगल फेज में 6 अप्रैल को चुनाव होंगे। पश्चिम बंगाल में 8 चरणों में चुनाव होंगे। 2 मई को नतीजे आएंगे। असम और पश्चिम बंगाल में 27 मार्च को पहले चरण की वोटिंग होगी। बंगाल में 29 अप्रैल को आठवें और आखिरी चरण की वोटिंग होगी।
पांचों राज्यों को मिलाकर कुल 824 विधानसभा क्षेत्रों में चुनाव होंगे। 18.6 करोड़ वोटर 2.7 लाख मतदान केंद्रों पर अपने मताधिकार का इस्तेमाल करेंगे। इनमें से अकेले पश्चिम बंगाल में ही 1 लाख से ज्यादा मतदान केंद्र होंगे।
ऑनलाइन जमा होगी जमानत राशि, वोटिंग का समय एक घंटे बढ़ाया गया
कोरोना महामारी के मद्देनजर गाइडलाइंस का पालन करते हुए वोटिंग होगी और इसका समय एक घंटे बढ़ाया गया है। जमानत राशि ऑनलाइन जमा कराई जाएगी। उम्मीदवार समेत अधिकतम 5 लोग ही घर-घर जाकर वोट मांग सकेंगे। चुनाव से जुड़ी जानकारी के लिए आयोग ने टोल फ्री नंबर 1950 जारी किया है।
पुडुचेरी में कोई उम्मीदवार अधिकतम 22 लाख रुपये चुनाव प्रचार पर खर्च कर सकता है। लेकिन बाकी 4 राज्यों में किसी एक सीट पर कोई उम्मीदवार अधिकतम 38 लाख रुपये खर्च कर सकेगा।
असम में तीन चरणों में होगा चुनाव
- असम में 3 चरण में चुनाव होंगे। पहले चरण के 2 मार्च को नोटिफिकेशन जारी होगा। 47 सीटों पर चुनाव होंगे। 9 मार्च नामांकन की आखिरी तारीख। 12 मार्च तक पर्चा वापसी। 27 मार्च को चुनाव। 2 मई को नतीजे।
- दूसरे फेज में 49 सीटों पर चुनाव। 1 अप्रैल को वोटिंग। 2 मई को नतीजे।
- तीसरे फेज में 48 सीटों पर चुनाव। 6 अप्रैल को वोटिंग।
केरल में सिंगल फेज में 6 अप्रैल को चुनाव
12 मार्च से नामांकन। 22 मार्च तक पर्चा वापसी। 6 अप्रैल को वोटिंग।
-मलप्पुरम लोकसभा सीट के लिए भी 6 अप्रैल को वोटिंग।
तमिलनाडु में भी एक चरण में चुनाव
तमिलनाडु की सभी 234 सीटों पर सिंगल फेज में चुनाव। 6 अप्रैल को वोटिंग।
कन्याकुमारी लोकसभा सीट पर उपचुनाव के लिए भी 6 अप्रैल को वोटिंग।
पुदुचेरी में भी एक चरण में चुनाव
12 मार्च से नामांकन। 6 अप्रैल को वोटिंग।
पश्चिम बंगाल में 8 चरण में चुनाव
पहले चरण में 5 जिलों में वोटिंग। पुरुलिया, बांकुरा, झालग्राम, पश्चिमी मिदनापुर पार्ट 1, पूर्वी मिदनापुर पार्ट 1। 27 मार्च को वोटिंग।
दूसरे चरण में 1 अप्रैल को वोटिंग। बांकुरा पार्ट 2, पश्चिम मिदनापुर पार्ट 2, पूर्व मिदनापुर पार्ट 2, दक्षिण परगना पार्ट 1।
तीसरे चरण में 33 सीटों पर वोटिंग। 6 अप्रैल को मतदान।
चौथे चरण में 44 विधानसभा सीटों पर चुनाव होंगे। 10 अप्रैल को वोटिंग। हावड़ा पार्ट 2, हुबली पार्ट 2, दक्षिण परगना पार्ट 3, कूचविहार जिलों में वोटिंग।
पांचवें चरण में 45 सीटों पर चुनाव। 17 अप्रैल को वोटिंग।
छठे चरण में 43 विधानसभा सीटों पर चुनाव। 22 अप्रैल को वोटिंग।
सातवें चरण में 32 सीटों पर चुनाव। 26 अप्रैल को वोटिंग।
आठवें और आखिरी चरण में 35 सीटों पर चुनाव। 29 अप्रैल को वोटिंग।
चार राज्यों में विधानसभा का मौजूदा कार्यकाल मई और जून में समाप्त हो रहा है। वहीं, पुडुचेरी में विश्वासमत पर वोटिंग से पहले मुख्यमंत्री वी. नारायणसामी के इस्तीफा देने से कांग्रेस के नेतृत्व वाली सरकार गिर गई थी। वहां विधानसभा भंग कर राष्ट्रपति शासन लगा दिया गया है।
किस राज्य में कब-कब चुनाव होंगे, इसका पूरा कार्यक्रम आप नीचे टेबल में देख सकते हैं।
राज्य (सीटें) कितने चरण में चुनाव मतदान परिणाम
पश्चिम बंगाल (294) 8 27 मार्च, 6 अप्रैल, 10 अप्रैल, 17 अप्रैल, 22 अप्रैल, 26 अप्रैल, 29 अप्रैल 2 मई
असम (126) 3 27 मार्च, 1 अप्रैल, 6 अप्रैल 2 मई
तमिलनाडु (234) सिंगल फेज 6 अप्रैल 2 मई
केरल (140) सिंगल फेज 6 अप्रैल 2 मई
पुडुचेरी (30) सिंगल फेज 6 अप्रैल 2 मई
सबसे दिलचस्प होगा पश्चिम बंगाल का मुकाबला
ममता बनर्जी की तृणमूल कांग्रेस फिलहाल पश्चिम बंगाल में सत्ता पर काबिज है। यहां बीजेपी ने पिछले चुनाव के बाद से जैसा आक्रामक रुख अपनाया है, उसे देखते हुए मुख्य मुकाबला TMC और उसके बीच ही माना जा रहा है। बीजेपी के लगभग सभी बड़े नेता यहां रैली कर रहे हैं। ओपिनियन पोल्स में भी बीजेपी ममता की पार्टी को बेहद कड़ी टक्कर देती दिख रही है।
दक्षिण में पैठ बनाना चाह रही बीजेपी
केरल में बीजेपी ने ‘मेट्रो मैन’ के नाम से मशहूर ई. श्रीधरन को अपने पाले में कर बड़ा दांव खेला है। पार्टी वहां पर कांग्रेस और लेफ्ट के मुकाबले में मजबूती से उतरने की तैयारी में है। वहीं, तमिलनाडु में भाजपा ने राज्य की सत्ताधारी ऑल इंडिया अन्ना द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (AIADMK) के साथ गठबंधन में चुनाव लड़ने का ऐलान किया है।
असम और पुडुचेरी भी अहम
पुडुचेरी में कांग्रेस की सरकार गिर जाने के बाद से हलचल तेज है। गुरुवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने यहां एक जनसभा को संबोधित करते हुए कांग्रेस पर खूब निशाना साधा था। वहीं असम में गृहमंत्री अमित शाह कई रैलियां कर चुके हैं। शाह ने गुरुवार को एक रैली में कांग्रेस पर हमला बोलते हुए कहा कि उसने असम में ‘‘सत्ता की लालसा’’ में बदरुद्दीन अजमल के एआईयूडीएफ से हाथ मिलाया है।