रांची : ED ने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को पत्र लिखा है. इसे ED का 8वाँ समन बताया जा रहा है. पत्र में ED ने इस बार मुख्यमंत्री को 16 से 20 जनवरी तक हाजिर होने को कहा है. बता दें कि इससे पहले भी ED ने पूछताछ के लिए सीएम हेमंत सोरेन को 7 बार समन भेज कर उनके समक्ष उपस्थित होने को कहा था, मगर हेमंत सोरेन एक बार भी ED के समक्ष उपस्थित नहीं हुए. हेमंत सोरेन की तरफ से हर बार उन्हें समन भेज कर बुलाने का कारण पूछा गया है.

बता दें कि ED के तरफ से हेमंत सोरेन को पहला समन 14 अगस्त के लिए जारी किया गया था. हेमंत सोरेन ने सुप्रीम कोर्ट और फिर झारखंड हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी और समन को अनुचित बताते हुए ED की कार्रवाई से सुरक्षा मांगी थी. दोनों अदालतों ने उनकी याचिका खारिज कर दी थी. सोरेन ने उच्च न्यायालय में दावा किया था कि समन दुर्भावना से जारी किया गया था और झारखंड में राजनीतिक अनिश्चितता और अशांति पैदा करने के एकमात्र उद्देश्य से उनके खिलाफ झूठे आरोप लगाए गए थे.

ED ने सातवें समन में सीएम हेमंत सोरेन से कहा था कि लैंड स्कैम मामले में उनका बयान दर्ज करना बहुत जरूरी है. इसलिए वह चाहे तो एक जगह तय कर सकते हैं, जहां उनका बयान लिया जा सके. पत्र में यह भी लिखा गया था कि मुख्यमंत्री अगले दो दिनों के भीतर अपना बयान दर्ज करा दें. जिसके बाद सीएम का एक दूत ईडी ऑफिस पत्र लेकर पहुंचा था. जिसमें लिखा था  कि वह जांच में एजेंसी का सहयोग करेंगे लेकिन पहले उन्हें स्पष्ट किया जाए कि आखिर एजेंसी उन्हें किसलिए बुला रही है.

इधर, मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को ED द्वारा जारी किए गए 8वें  समन को लेकर सांसद निशिकांत दुबे ने भी ट्वीट किया है. उन्होंने कहा कि आप के पाप के लिए 4 था और झारखंड के मुख्यमंत्री के डकैती के लिए 8वां समन कोई मायने नहीं रखता. केजरीवाल जी तो हल्ला मचा रहे हैं, हमारा मुख्यमंत्री तो चुपचाप रजाई में घुसकर जाड़ा काट रहे हैं. कम से कम शिबू सोरेन जी का इज्जत तो रखिए, इस्तीफा दीजिये और एजेंसियों के प्रश्न का जवाब दीजिये.

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