Ranchi : भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष और नेता प्रतिपक्ष बाबूलाल मरांडी ने एक बार फिर घुसपैठ को लेकर प्रदेश सरकार पर निशाना साधा है। मरांडी ने मंगलवार को सोशल मीडिया एक्स पर कहा है कि झारखंड में बांग्लादेशी घुसपैठ की गंभीर स्थिति को प्रमाणित करने के लिए उच्च न्यायालय ने अधिकारियों को एक समिति गठित करने का निर्देश दिया था लेकिन अपनी असलियत उजागर होने के भय से हेमंत सरकार ने इस आदेश के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का रुख कर लिया और दावा किया कि राज्य में कोई घुसपैठिया नहीं है। अब झामुमो के प्रवक्ता खुलेआम यह गलतबयानी कर रहे हैं कि राज्य सरकार ने घुसपैठ की जांच रुकवाने के लिए सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल नहीं की।
बाबूलाल मरांडी ने आगे कहा कि सोमवार को मुंबई में 13 बांग्लादेशी घुसपैठिए गिरफ्तार हुए, जिनके अवैध दस्तावेज झारखंड के साहिबगंज जिले से बनाये गये थे। झामुमो जितना चाहे मेरे दावे को झूठला ले, लेकिन सच्चाई को नहीं छुपा सकती। सच्चाई यही है कि झारखंड में बांग्लादेशी घुसपैठ की स्थिति अब विस्फोटक बन चुकी है। उन्होंने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से कहा कि आदिवासी मूलवासियों की रक्षा कीजिए और झारखंड को बचाइये।
दूसरी ओर बाबूलाल मरांडी ने सीजीएल नियुक्ति पर सवाल उठाते हुए कहा कि मुख्यमंत्री क्या अब भी आपको समझ में नहीं आ रहा कि सीजीएल नियुक्ति में घोटाला हुआ है और नौकरी बिकी है और बिक रही है। उन्होंने कहा कि बाल हठ छोड़िये। इनदिनों लीपापोती, मनमानी, गड़बड़ी करने और घपला दबाने के लिये मशहूर राज्य सीआईडी के भरोसे यह जांच मत करवाईये। इसे सीधे सीबीआई के हवाले करिये ताकि झारखंड के बेरोजगारों के साथ इंसाफ हो सके।
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