लातेहार। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने लातेहार में बड़ी घोषणा करते हुए कहा है कि सभी अनुबंधकर्मियों को नियमित करने पर सरकार ने योजना तैयार की है। नियमित करने को लेकर सरकार नियमावली बना रही है। उन्होंने साफ शब्दों में कहा कि राज्य के अधिकारी अनुबंधकर्मियों पर जब मन चाहे वहां ट्रांसफर पोस्टिंग कर देते हैं, लेकिन अब ऐसा नहीं होगा सभी को नियमित करने पर सरकार ने नियमावली बनाने का निर्देश दिया है।
सीएम हेमंत सोरेन लातेहार के खेल मैदान में बिरसा किसान सम्मान समारोह में भाग लेने पहुंचे थे। करीब 40 मिनट के संबोधन में सीएम ने कई बिंदुओं पर बात रखी। पीएम ने अनुबंध कर्मियों को नियमित करने के अलावा सबसे बड़ी बात कही कि झारखंड के अधिकारी गड़बड़ हैं उन्हें स्थानीय भाषा जानने की जरूरत है। यहां की जनता उन्हें स्थानीय भाषा सिखाएगी। अग्निपथ योजना पर टिप्पणी करते हुए सीएम हेमंत सोरेन ने कहा कि अग्निवीर के माध्यम से देश को आग में झोंकने की योजना तैयार की गई थी। उन्होंने कहा कि झारखंड के किसानों को सरकार सम्मान दे रही है।
मंत्री बादल पत्रलेख ने कहा कि यह कार्यक्रम किसानों को सम्मान देने के लिए है। उन्होंने किसानों से किए हुए वादे को पूरा करेंगे. 10 लाख बिरसा किसानों को सम्मान दिया जा रहा है। हुंकार भरने का समय पलामू प्रमंडल को दिया। उन्होंने कहा कि अभी तक चार लाख किसानों के ऋण माफ किया गया है. प्रत्येक वर्ष 23 जून को बिरसा कृषि सम्मान समारोह आयोजित होगा. राज्य में 58 लाख किसान परिवार हैं। जल्द ही बिरसा किसान सम्मान कार्ड जारी होगा, जिसमें किसानों का सम्पूर्ण डाटा होगा। उन्होंने कहा कि नेतरहाट में चाय का बगान लगेगा, इसकी संभावना तलाशी जा रही है। मंत्री जोबा मांझी ने अधिकारियों से अपील है कि योग्य लाभुकों तक लाभ पहुंचाएं। उन्होंने किसानों से भी अपील की है कि ऋण लें लेकिन उसे समय पर चुकता करें, कृषि को आगे बढ़ाएं।
बिरसा कृषि सम्मान समारोह में पलामू प्रमंडल के 52043 किसानों के बीच 336 करोड़ रुपये का केसीसी वितरण किया गया। लातेहार में 23204, पलामू में 18500 जबकि गढ़वा में 10339 किसानों के बीच केसीसी का वितरण किया गया। पलामू प्रमंडल की 80 प्रतिशत के करीब आबादी कृषि पर निर्भर है। इए आयोजन के माध्यम से किसानों को टारगेट किया गया। इस दौरान विधायक बैजनाथ राम, रामचन्द्र सिंह, सीएम के प्रधान सचिव विनय कुमार चौबे, कृषि सचिव अबु बकर सिद्दकी, कमिश्नर जटाशंकर चौधरी, डीआईजी राजकुमार लकड़ा, पलामू, गढ़वा और लातेहार के डीसी मौजूद थे।