मुंबई : ओटीटी प्लटेफॉर्म्स पर दिखने वाले कंटेट पर केंद्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड (सीबीएफसी) ने नकेल कसना शुरू कर दिया है. खबर आ रही है कि नेटफ्लिक्स को भी अब सेंट्रल बोर्ड ऑफ फिल्म सर्टिफिकेशन के दायरे में रहकर स्ट्रीम करना पड़ेगा. विश्व स्तर पर स्ट्रीमिंग प्लेटफॉर्म ने भारतीय फिल्मों के बिना सेंसर किए संस्करणों की स्ट्रीमिंग को पूरी तरह से रोक लगा दी है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, इस साल रिलीज हुई कई फिल्मों की समीक्षा के बाद यह दावा किया गया है कि नेटफ्लिक्स अब उन ओटीटी प्लेटफार्मों की श्रेणी में शामिल हो चुका है, जिसने सीबीएफसी के अप्रूवल प्राप्त करने से पहले भारतीय फिल्मों के संस्करण दिखाना बंद कर दिया था.
सेंसरशिप के हिसाब से करना होगा स्ट्रीम
रिपोर्ट के मुताबिक, अनुभव सिन्हा की भीड़, लोकेश कनगराज की लियो और अमित राय की ओएमजी 2 उन फिल्मों में से थीं, जिन्हें राजनीतिक, सांप्रदायिक या वयस्क सीन को दिखाने या संबोधित करने वाले मोड़ पर कटौती का सामना करना पड़ा, जबकि, कुछ समय से बाकि के स्ट्रीमिंग प्लेटफॉर्म इसका पालन कर रहे हैं. अब नेटफ्लिक्स को भी भारतीय कंटेंट को सेंसरशिप के हिसाब से ही स्ट्रीम करना होगा.
बोल्ड सीन्स पर लगेगी रोक
अब नेटफ्लिक्स पर दर्शक फिल्मों के हद से ज्यादा बोल्ड सीन्स को एक्सटेंडेड वर्जन में भी नहीं देख सकेंगे. इसके अलावा भारतीय कंटेंट में इस्तेमाल होने वाली अभ्रद भाषा का भी उपयोग अब काफी कम हो जाएगा. हालांकि, ओटीट प्लेटफॉर्म नेटफ्लिक्स ने अपनी स्ट्रीमिंग पॉलिसी में लाए इन बदलावों पर अब तक कुछ भी नहीं कहा है. एक बयान में नेटफ्लिक्स ने कहा, ‘हमारे पास भारतीय मूल फिल्मों और टीवी शो का एक बड़ा कलेक्शन है, जो क्रिएटिव रहने की आजादी के लिए हमारे लंबे समय से चले आ रहे समर्थन को दर्शाता है.’
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