Joharlive Desk
फूलगोभी की तरह दिखने वाली एक और गोभी होती है, जो हरे रंग की दिखती है। इस हरे रंग की गोभी को ब्रोकली कहा जाता है। वैज्ञानिकों के अनुसार ब्रोकली भी गोभी की प्रजाति की ही एक सब्जी है। अंतर बस इतना है कि गोभी के मुकाबले ब्रोकली में ज्यादा मात्रा में फाइबर और विटामिन्स पाए जाते हैं। ब्रोकली का सबसे ज्यादा इस्तेमाल सूप और सलाद में किया जाता है। अन्य गोभियों के अपेक्षा ब्रोकली दिखने में जितनी अलग है, ठीक उतनी ही फायदों से भरपूर भी है। आज हम आपको ब्रोकली से होने वाले बेहिसाब फायदों के बारे में बताएंगे।
ब्रोकली में आयरन, कैल्शियम, प्रोटीन, कार्बोहाइड्रेट, विटामिन ए, विटामिन सी, विटामिन बी, पोटैशियम, मैगमिशियम, जिंक, फास्फोरस जैसे कई सारे न्यूट्रीशन पाए जाते हैं। इसके सेवन से इम्यून सिस्टम मजबूत होता है।
भारतीय व्यंजनों का स्वाद बढ़ाने वाली ब्रोकली हरी सब्जियों में प्रमुख स्थान रखती है। ब्रोकली में मैग्नीशियम और विटामिन सी की प्रचुर मात्रा पाई जाती है। ब्रोकली के सेवन से डायबिटीज मरीजों का इंसुलिन का लेवल कम हो जाता है। इसके साथ ही ब्रोकली कोशिकाओं को हानिकारक फ्री रेडिकल डैमेज से भी बचाए रखने में मदद करती है।
ब्रोकली और गोभी में बहुत काम मात्रा में कैलोरीज पाई जाती है। उबली हुई गोभी खाकर वजन तेजी से कम किया जा सकता है। शरीर के आतंरिक सूजन को दूर करने के लिए उबले हुए गोभी के प्रयोग किया जा सकता है।
कैंसर जैसे गंभीर बीमारी में ब्रोकली का सेवन शरीर के लिए फायदेमंद हो सकता है। ब्रोकली में बीटा कैरोटीन और आइसोथियोसायनेट नामक तत्व पाए जाते हैं, जो कैंसर की रोकथाम में सहायक हैं।
प्रेग्नेंसी के दौरान ब्रोकली का सेवन बहुत अच्छा होता है। ब्रोकली में पाए जाने वाले आयरन और फोलेट बच्चे के दिमागी और शारीरिक विकास में मदद करते हैं।
अगर आपको कब्ज की समस्या है और खुलकर भूख नहीं लगती है तो आपको ब्रोकली को अपने आहार में शामिल करना चाहिए। इसमें पाए जाने वाला हाई फाइबर कब्ज की समस्या से छुटकारा दिलाता है।
ब्रोकली में पाए जाने वाला कैल्शियम हड्डियों को मजबूत बनाता है।