रांची। भाजपा विधायक दल के नेता बाबूलाल मरांडी ने आईएएस राजीव अरुण एक्का के निलंबन की मांग की है। मरांडी ने सोमवार को ट्वीट कर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से अनुरोध करते हुए कहा है कि ट्रांसफर कोई सजा नहीं, राजीव अरुण एक्का को निलंबित करिये।

उन्होंने कहा कि होम डिपार्टमेंट जैसे संवेदनशील एवं राज्य-देश की परम गोपनीय जानकारी रखने वाले विभाग की फाइल दलाल के यहां ले जाने का मामला बेहद गंभीर, चिंतनीय और शर्मनाक है। इस गंभीर मामले में ऑफिशियल सिक्रेट एक्ट, पद का दुरुपयोग करने के आरोप की धाराओं में मुकदमा किया जाना चाहिए। राजीव अरुण और इनके दलाल सिंडिकेट को जेल भेजना चाहिए।

बाबूलाल मरांडी ने मुख्यमंत्री सोरेन की भूमिका पर भी सवाल उठाया और कहा कि मुख्यमंत्री खुद होम डिपार्टमेंट के मंत्री भी हैं। ऐसे में कोई कैसे विश्वास करेगा कि बिना मुख्यमंत्री की अनुमति के गृह विभाग का सचिव विभागीय फाइलों को दलाल के यहां ले जाकर रखेगा। मुख्यमंत्री को कठोर कार्रवाई करनी चाहिए। ऐसा किये बिना मुख्यमंत्री अपनी जिम्मेदारी से कैसे बच सकते हैं? उनकी बातों पर गंभीरता से सरकार विचार करे।

उल्लेखनीय है कि पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी ने रविवार को एक वीडियो क्लिप जारी किया था। इसमें आरोप लगाते हुए उन्होंने दावा किया था कि ये वीडियो क्लिप विशाल चौधरी के रांची के अरगोड़ा चौक के निकट स्थित कार्यालय का है। विशाल चौधरी का नाम उस वक्त सुर्खियों में आया था, जब ईडी की टीम ने उसके ठिकाने पर छापेमारी की थी। इस वीडियो में विशाल चौधरी के दफ्तर में बैठकर राजीव अरुण एक्का सरकारी फाइलें निपटा रहे हैं। बाबूलाल मरांडी ने वीडियो जारी करते हुए राजीव अरुण एक्का को पद से हटाने की मांग की थी। इसके बाद रविवार रात झारखंड सरकार के कार्मिक, प्रशासनिक सुधार तथा राजभाषा विभाग ने अधिसूचना जारी कर राजीव अरुण एक्का का तबादला कर दिया। उन्हें मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के प्रधान सचिव के पद से हटाकर पंचायती राज विभाग में प्रधान सचिव नियुक्त कर दिया गया।

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