हजारीबागः धनबाद में जिला एवं सत्र न्यायाधीश अष्टम उत्तम आनंद की मौत होने के बाद गुरुवार को उनका अंतिम संस्कार हजारीबाग स्थित मुक्तिधाम में किया गया. उनके पैतृक आवास शिवपुरी में गणमान्य लोगों का आने-जाने का सिलसिला जारी है. इसी क्रम में झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री और बीजेपी विधायक दल के नेता बाबूलाल मरांडी ने भी पीड़ित परिवार से मुलाकात की.
धनबाद जिला एवं सत्र न्यायाधीश अष्टम उत्तम आनंद की सड़क दुर्घटना में संदिग्ध मौत के बाद हजारीबाग पहुंचे बाबूलाल मरांडी ने सरकार पर सवाल खड़ा करते हुए कहा कि सरकार सुरक्षा देने में नाकामयाब साबित हो रही है. उन्होंने हजारीबाग में पीड़ित परिवार के सदस्यों से मुलाकात की और घटना की विस्तृत जानकारी ली.
बाबूलाल मरांडी ने वह वीडियो भी देखा जो सीसीटीवी में कैद हुआ है. उस पर उन्होंने कहा कि जिस तरह से सीसीटीवी फुटेज में साफ दिख रहा है कि पूरा मामला संदिग्ध है, इसकी हर बिंदु पर जांच होनी चाहिए. आगे उन्होंने कहा कि हाई कोर्ट भी इस मामले पर मॉनिटरिंग कर रही है, ऐसे में लगता है कि अपराधी भी नहीं बचेंगे.
बाबूलाल ने पुलिस प्रशासन और सरकार को निशाने पर लेते हुए कहा कि यहां अपराधी बेलगाम हो गए हैं, मोबाइल, मैसेज, वीडियो के जरिए धमकाकर लोगों से पैसा वसूल रहे हैं. ऐसे में सरकार को चाहिए कि वो ऐसे अपराधियों को चिन्हित करें और उन्हें झारखंड की धरती से दूर करें ताकि अपराधियों के मन में भी खौफ दिखे. उन्होंने कहा कि जब सरकार से लोगों का भरोसा उठ जाता है तो वह सीबीआई की जांच की मांग करते हैं, यह एक स्वाभाविक बात है.
दरअसल पीड़ित परिवार की ओर से पूरे मामले को लेकर सीबीआई जांच की मांग की गई है. इसके अलावा भी कई सामाजिक संगठन के लोगों ने भी पूरे मामले की जांच की मांग की है. बीजेपी नेता बाबूलाल मरांडी ने इस घटना पर दुख व्यक्त करते हुए सरकार पर सवाल खड़ा किया है. उन्होंने सीधे तौर पर कहा कि आम जनता को सुरक्षा देने में सरकार नाकामयाब साबित हो रही है. साथ ही साथ बाबूलाल मरांडी ने मामले की उच्च स्तरीय जांच की बात भी कही है.
जस्टिस उत्तम आंनद राज्य के चर्चित रंजय सिंह उर्फ रवि रंजन सिंह हत्याकांड की सुनवाई कर रहे थे. रंजीत सिंह धनबाद के बाहुबली नेता और झरिया के पूर्व विधायक संजीव सिंह के काफी करीबी माने जाते थे. जनवरी 2017 की शाम बिग बाजार के पास रंजय सिंह की आपसी रंजिश में हत्या कर दी गई थी. इसे लेकर धनबाद में गैंगवार का सिलसिला भी चला था. कुछ दिन पूर्व उन्होंने शूटर अभिनव सिंह और अमन के करीबी रवि ठाकुर की जमानत याचिका खारिज कर दी थी.