Ramgarh : रामगढ़ के पतरातू क्षेत्र में अमन श्रीवास्तव गिरोह का मददगार अशरफ अंसारी पुलिस के हत्थे चढ़ गया। वह गैंग के लिए मीटिंग अरेंज करता था और ठेकेदारों को बैठाकर रकम तय करता था। इस बात का खुलासा आज यानी रविवार को पतरातू SDPO पवन कुमार ने किया। SDPO ने बताया कि अशरफ अंसारी बाहर से गैंग को पूरा सपोर्ट देता था। किस तरह से मीटिंग अरेंज करनी है, कहां अरेंज करनी है, ठेकेदारों को गाड़ी से कैसे पहुंचाना है, यह सारी जिम्मेदारी गैंग की तरफ से उसे ही सौंपी गयी थी। पतरातू थाना क्षेत्र के रोचाप निवासी अशरफ अंसारी उस दिन भागने में सफल रहा था, जब एलेक्सा रिसोर्ट में अपराधियों की बैठक हो रही थी।
SDPO पवन कुमार ने बताया कि पतरातु थाना क्षेत्र के पतरातु रेलवे फाटक के पास फ्लाई ओवर ब्रिज बनाने वाली कम्पनी MGCPL के साईट पर 10 दिसंबर 2024 को अमन श्रीवास्तव गिरोह के गुर्गों ने फायरिंग की थी। उसके बाद उक्त कम्पनी के मैनेजर से लेवी लेने के लिए अमन श्रीवास्तव गिरोह के सदस्य लगातार फोन पर धमकी दे रहे थे।
SDPO पवन कुमार ने बताया कि रंगदारी की रकम तय करने के लिए MGCPL कंपनी के मैनेजर को पांच जनवरी को एलेक्सा रिसोर्ट में बुलाया गया था। वहां अमन श्रीवास्तव गिरोह के लोग भी आए थे। पुलिस को जब सूचना मिली तो वहां छापेमारी की। उस दौरान दीपक कुमार, शहादत अंसारी, एहसान अंसारी को गिरफ्तार जेल भेजा गया था। वहीं एक नाबालिग को कोर्ट के आदेश पर बाल सुधार गृह भेजा गया था। नाबालिग को गैंग के लोगों ने रिसोर्ट के बाहर नजर रखने के लिए तैनात किया था।
एसडीपीओ ने बताया कि गिरफ्तार अपराधी दीपक और शहादत की निशानदेही पर एक कार और एक देशी पिस्टल बरामद किया गया था। इस संबंध में पतरातु थाना में मामला दर्ज है। इस मामले के फरार आरोपी रोचाप निवासी असरफ अंसारी को पुलिस ने गिरफ्तार किया।
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