रांची: अधिवक्ता राजीव कुमार के खिलाफ अब ईडी जांच करेगी. ईडी ने केस को टेकओवर कर लिया है. 31 जुलाई को बंगाल पुलिस की डिटेक्टिव विंग ने राजीव कुमार को कोलकाता में गिरफ्तार किया था. तब उनके पास से 50 लाख नकदी भी बरामद की गई थी.

इस मामले में कारोबारी अमित अग्रवाल ने एफआईआर दर्ज करायी थी. दर्ज एफआईआर में बताया गया था कि रांची हाई कोर्ट में शेल कंपनियों और अवैध खनन की जांच सीबीआई से कराने के लिए दर्ज याचिका से नाम हटाने के बदले अधिवक्ता राजीव कुमार ने चार करोड़ की मांग की थी, बाद में वह 50 लाख लेने कोलकाता आए थे. जिसके बाद बंगाल पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार किया.

गौरतलब है कि बुधवार को कोलकाता की विशेष अदालत ने वकील राजीव कुमार की रिमांड अवधि खत्म होने के बाद 14 दिनों के न्यायिक हिरासत में भेज दिया था. बुधवार को राजीव कुमार के मामले में कोलकाता स्पेशल कोर्ट में सुनवाई हुई थी. गिरफ्तारी के बाद बंगाल पुलिस की डिटेक्टिव टीम ने राजीव कुमार को रिमांड पर लिया था.

पश्चिम बंगाल पुलिस ने दावा किया है कि राजीव कुमार के संबंध में कई सनसनीखेज जानकारियां मिली है. पश्चिम बंगाल पुलिस का यह दावा है कि राजीव कुमार ने हाईकोर्ट में याचिकाएं दायर की, इसके बाद प्रभावित पक्षों से काफी वसूली की है. कोलकाता पुलिस की टीम ने राजीव कुमार की गिरफ्तारी के बाद उनके रांची स्थित आवास पर छापेमारी की थी. पुलिस ने राजीव कुमार की संपत्ति का विवरण भी तैयार किया था. पश्चिम बंगाल पुलिस ने माना है कि राजीव कुमार ने पीआईएल का इस्तेमाल कर काफी कमाई की है.

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