रांची. झारखंड की राजधानी रांची में एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है. यहां के हटिया रेलवे स्टेशन परिसर से 17 कोरोना वायरस पॉजिटिव रेल यात्री फरार हो गए हैं. उनके मोबाइल फोन भी स्विच ऑफ आ रहे हैं. इससे रेलवे प्रशासन के साथ ही स्थानीय प्रशासन की चिंताएं भी बढ़ गई हैं. महाराष्ट्र और ओडिशा से आए ये सभी यात्री रैपिड एंटिजन टेस्ट में COVID-19 पॉजिटिव पाए गए थे. हटिया रेलवे स्टेशन परिसर में कोरोना पॉजिटिव यात्रियों को क्वारंटीन सेंटर या फिर अस्पताल ले जाने के लिए एंबुलेंस लगी हुई थी.
कोरोना पॉजिटिव पाए जाने पर यात्री कहीं भाग न जाएं, इसके लिए हटिया रेलवे स्टेशन परिसर में सुरक्षा की मुकम्मल व्यवस्था करने का दावा किया गया था. इसके लिए बकायदा 4 मजिस्ट्रेट को तैनात किया गया था, जो कोरोना पॉजिटिव पाए गए मरीजों पर नजर रख सकें. इसके बावजूद 17 कोरोना पॉजिटिव स्टेशन परिसर से भागने में सफल रहे. प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि रैपिड एंटीजन टेस्ट का परिणाम आने से पहले ही सभी 17 पैसेंजर स्टेशन से चलते बने.
बता दें कि रांची के उपायुक्त छवि रंजन ने सोमवार को अधिकारियों को यह सख्त हिदायत दी थी कि रेलवे स्टेशन और हवाई अड्डा पर कोरोना जांच में पॉजिटिव पाए जाने वाले किसी भी सूरत में घर न जाने पाएं. इसके बावजूद बड़ी चूक हुई और हटिया रेलवे स्टेशन परिसर से 17 कोरोना पॉजिटिव मरीज फरार हो गए. रांची के एसडीओ ने बताया कि स्टेशन परिसर में हुई लापरवाही को लेकर वहां तैनात सभी 4 मजिस्ट्रेट से जवाब मांगा जाएगा. उन्होंने सुरक्षा व्यवस्था को और दुरुस्त करने की बात कहते हुए रेल यात्रियों से भी सहयोग करने की अपील की है. इस बीच, स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने यह माना है कि दूसरे प्रदेशों से आ रहे यात्रियों की वजह से झारखंड में कोरोना के नए मामले बढ़े हैं.
कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए सभी जिला प्रशासन से यात्रियों की कोविड जांच का दायरा बढ़ाने का निर्देश दिया गया ह. इसके बावजूद कई कोरोना वायरस पॉजिटिव मरीजों का अभी तक पता नहीं चल सका है. इससे कोरोना संक्रमण का खतरा बढ़ गया है. अधिकारियों ने बताया कि रांची रेलवे स्टेशन पर कोविड जांच से बचने के लिए बैरिकेड और सुरक्षा घेरे को तोड़ कर फरार हो गए. वे किसी भी आग्रह को सुनने तक को तैयार नहीं थे.