रांची: JPSC ने सातवीं सिविल सेवा PT का संशोधित रिजल्ट जारी करने के लिए झारखंड हाईकोर्ट में याचिका दायर की है। JPSC की ओर से दायर शपथ पत्र में कहा गया है कि कोर्ट आदेश दे तो संशोधित रिजल्ट जारी करने को तैयार हैं। अब इस मामले पर 15 फरवरी को सुनवाई होगी। उधर, याचिकाकर्ता के वकील अमृतांश वत्स ने बताया कि संशोधित रिजल्ट में जनरल कैटेगरी का कट ऑफ मार्क्स 260 से घटाकर 248 कर दिया गया है। इससे बड़ी संख्या में जनरल कैटेगरी के अभ्यर्थी पास हो जाएंगे।
हालांकि कुछ अभ्यर्थी बाहर भी होंगे। इससे पहले 25 जनवरी को हुई सुनवाई में JPSC के वकील अमित कुमार दास ने कोर्ट में कहा था कि मुख्य परीक्षा को स्थगित कर रहे हैं। याचिकाकर्ता द्वारा उठाए गए मुद्दे और कोर्ट के सवाल को देखते हुए जांच बैठा रहे हैं। PT रिजल्ट में त्रुटि हुई तो उसे सुधार कर 15 दिन में संशोधित रिजल्ट जारी करेंगे। इस दौरान चीफ जस्टिस डॉ. रवि रंजन की खंडपीठ ने सवाल उठाया था कि छुप कर आरक्षण देना गलत है।
कट ऑफ 248 करने के मायने क्या
1.सामान्य वर्ग के करीब 1000 ऐसे अभ्यर्थी PT पास हे जाएंगे, जो कुछ नंबर के कारण पिछड़ गए थे।
2. इस वर्ग की 114 सीटें हैं, अभी 768 ही पास थे, अब PT पास होने वालों की संख्या पद से 15 गुना तक हो जाएगी।
3. सामान्य वर्ग में आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों का भी चयन हुआ है। सूची से वे हटेंगे तो दूसरी कैटेगरी के रिजल्ट कम होंगे।
कोर्ट ने 4 बिंदुओं पर मांगा था जवाब
1. JPSC PT में जनरल कैटेगरी के सिर्फ 768 अभ्यर्थियों का ही चयन क्यों हुआ, जबकि इस वर्ग के लिए 114 सीटें रखी गई थीं। कम से कम 15 गुना रिजल्ट जारी करना था, जो 1710 होनी चाहिए थी।
2. जब अन्य कैटेगरी के लिए कट ऑफ मार्क्स घटाया गया था तो जनरल कैटेगरी के लिए क्यों नहीं। इसीलिए दूसरे वर्ग के अभ्यर्थियों का ताो 15 गुना चयन हुआ, लेकिन जनरल कैटेगरी का नहीं हुआ
3. कितने अभ्यर्थियों का कैटेगरी वाइज रिजल्ट जारी किया गया है।
4. कैटेगरी वाइज कट ऑफ किस नियमावली के तहत तय हुआ।
याचिकाकर्ता का आरेाप, रिजल्ट से छेड़छाड़ हुई
याचिकाकर्ता का आरोप है कि जनरल कैटेगरी में रिजल्ट से छेड़छाड़ हुई। PT के रिजल्ट में 80% से ज्यादा आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों का चयन हुआ। जनरल कैटेगरी का रिजल्ट काफी कम रहा।